Adulterers will be imprisoned for 6 years
फूड सेफ्टी विभाग ने जारी की एसओपी
बॉर्डर पर सख्त पहरा, ऑन स्पॉट टेस्ट हो रहे सैंपल, विजिलेंस सेल और सर्विलांस के जरिए सख्त मॉनिटरिंग शुरू
मिलावटखोरी रोकने के लिए डिकॉय ऑपरेशन, इंफोर्समेंट और सर्विलांस की भी ली जाएगी मददः ताजबर जग्गी
देहरादून। Adulterers will be imprisoned for 6 years होली पर आम जनता तक शुद्ध और सुरक्षित खाद्य उत्पाद उपलब्ध कराने के लिए खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन ने प्रदेशभर में मिलावटखोरों के खिलाफ सख्त अभियान छेड़ दिया है। खासतौर पर दूध, मावा, पनीर और खोया जैसे उत्पादों की जांच की जा रही है। देहरादून, हरिद्वार और उधम सिंह नगर जैसे संवेदनशील जिलों में विशेष सतर्कता बरती जा रही है।
देहरादून के आशारोड़ी बॉर्डर पर बाहर से आने वाले दूध और उसके उत्पादों की सख्त जांच की जा रही है। खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन के आयुक्त डा. आर राजेश कुमार ने कहा कि इसको लेकर एक विस्तृत SOP जारी कर दी गई है। सम्बंधित अधिकारियों को मिलावटखोरों के खि़लाफ़ कड़ी कार्रवाई के निर्देश जारी किए गए हैं।
उन्होंने बताया खाद्य सैम्पलों की प्राथमिकता से जांच होगी और दोषी पाए जाने वाले मिलावटखोरों और विक्रेताओं के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इसके लिए 05 लाख तक जुर्माना और 06 साल तक की कैद हो सकती है। आयुक्त डा. आर राजेश कुमार ने बताया कि खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन प्रदेश भर में मिलावटखोरी को रोकने के लिए लगातार अभियान चलाता है।
यह अभियान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और स्वास्थ्य मंत्री डा. धन सिंह रावत के मार्गदर्शन में चल रहा है। इसके तहत अब होली के मद्देनजर विभाग ने व्यापक कार्य योजना तैयार की है। फूड सेफ्टी विभाग ने सख्त एसओपी जारी की है। राज्य के सभी जिलाधिकारियों, समस्त प्रभारी/अभिहित अधिकारियों को दिशा निर्देश जारी किए गए हैं।
डॉ आर राजेश कुमार ने कहा एसओपी में खाद्य सुरक्षा मानक अधिनियम-2006 एवं नियम 2011 के प्रावधानों के अंतर्गत मिलावटी खाद्य पदार्थ निर्माताओं/ थोक विक्रेता/आपूर्तिकर्ता/ फुटकर विक्रेताओं के विरूद्ध सख्त कार्यवाही के लिए कहा गया है। होली के अभियान की अवधि में की गयी प्रवर्तन कार्यावाहियों की समीक्षा की जायेगी।
खाद्य कारोबारी जो नियमों का उल्लंघन करते हुये गये एवं जो नियमित रूप से उल्लंघन कर्ता हैं को चिन्हित करते हुये कड़ी कानूनी कार्यवाही की जायेगी। डॉ आर राजेश कुमार ने कहा आदेशों का तत्काल कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करते हुए प्रत्येक कार्य दिवस की गयी कार्यवाही ई-मेल के माध्यम से कार्यालय खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन उत्तराखण्ड को अवगत कराई जाएगी। इस विस्तृत एसओपी में हर पहलू का ध्यान रखा गया है।
खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन के अपर आयुक्त ताजबर सिंह जग्गी ने बताया कि होली को देखते हुए मिलावटखोरों से निपटने के लिए प्रदेश को तीन श्रेणियों में विभाजित किया गया है। ऊधमसिंह नगर, नैनीताल, हरिद्वार, देहरादून, टिहरी और पौड़ी जिलों को एक श्रेणी में शामिल किया गया है। इसके अलावा चम्पावत, बागेश्वर और अल्मोड़ा को एक श्रेणी में बांट गया है। इन जिलों के लिए विभाग ने सचल खाद्य लैब की व्यवस्था की है। ये टीमें त्योहारी सीजन में अचानक कहीं भी छापेमारी कर सैंपलिंग कर सकती हैं।
अपर आयुक्त ताजबर जग्गी ने बताया कि मिलावटखोरी रोकने के लिए डिकॉय ऑपरेशन, इंफोर्समेंट और सर्विलांस की मदद भी ली जाएगी। साथ ही विभाग की ये टीमें उपभोक्ताओं को भी मिलावटी वस्तुओं के बारे में जागरूक करेंगी। अभिसूचना से मिली जानकारी के आधार पर छापेमारी की जाएगी। संभावित विरोध को देखते हुए खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन की टीमें पुलिस प्रशासन का भी सहयोग लेगी। अपर आयुक्त ताजबर जग्गी ने बताया कि उत्तरकाशी, पिथौरागढ़ और चमोली जिलों में भी यह अभियान चलेगा।
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