बेवफाई की ये शायरी आपके दिल को झकजोर देगी

bewafi ki

दर्द की दिल पे हुकुमत थी, कहां था उस वक्त?
जब मुझे तेरी जरूरत थी, कहां था उस वक्त?

मौत के सुख में चला आया मुझे देखने को,
जिंदा रहने की मुसीबत थी, कहां था उस वक्त?

दिल के दरियाओं में अब रेत है शहरों की,
जब मुझे तुझे मोहब्बत थी, कहां था उस वक्त?


मत पूछ मेरी मोहब्बत की इंतिहां कहां तक है,
तू कर ले सितम तेरी ताकत जहां तक है,

वफा की उम्मीद जिन्हे होगी उन्हे होगी,
देखे तो जरा तू बेवफा कहां तक है…


साबित हुआ की तू भी जमाने के साथ है,
साबित हुआ की तू भी हमारा नहीं रहा…

बेवफा शायरी : तुझे इश्क हो खुदा करे, कोई तुझको उससे जुदा करे
बेवफा शायरी : ये तुम से कह दिया किस ने कि तुम बिन रह नहीं सकते