जबलपुर,। भारतीय सेना को बम और टैंक बनाकर सप्लाई करने वाली जबलपुर स्थित खमरिया ऑडिनेंस फैक्ट्री के एफ तीन सेक्शन में शनिवार शाम को लगी भीषण आग से करोड़ों के नुकसान का अनुमान लगाया जा रहा है। हालांकि, फैक्ट्री प्रबंधन इस मामले में कुछ भी कहने से बच रहा है और मीडिया से बात करने से साफ इनकार कर चुका है, इसके बावजूद तीन घंटे तक फैक्ट्री में लगातार हुए धमाकों से अनुमान लगाया जा रहा है कि इस दौरान फैक्ट्री में रखा करोड़ों का विस्फोटक नष्ट हो चुका है। फैक्ट्री इलाके में अभी तक किसी को भी प्रवेश नहीं दिया जा रहा है। वहां से जो जानकारी मिल रही है, उसके अनुसार देर रात तक आग पर काबू पा लिया गया था।
जानकारी के मुताबिक फैक्ट्री में शाम करीब साढ़े छह बजे एक धमाके के बाद भीषण आग लग गई। इस घटना में कोई जान-माल का नुकसान नहीं हुआ है। दरअसल, फैक्ट्री की पहली शिफ्ट शाम को 5.0 छूट जाती है और दूसरी शिफ्ट रात 8ः30 बजे शुरू होती है। इसी बीच फैक्ट्री में यह हादसा हुआ, जिससे वहां के वर्करों की जान बच गई। बताया जा रहा है कि आग लगने से कुछ देर पहले ही फैक्ट्री में एक मालगाड़ी बम और टैंक बनाने का सामान लेकर पहुंची थी, जिसे ठेके के कर्मचारी खाली कर रहे थे। आग भडकते देख मालगाड़ी को फौरन वहां से रवाना कर दिया और कर्मियों को भी बाहर निकाल लिया गया।
आग की सूचना लगते ही दमकल के साथ-साथ पुलिस, प्रशासनिक अमला, सेना के जवान और फैक्ट्री के अधिकारी मौके पर पहुंच चुके थे और भारी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया। आग की वजह से फैक्ट्री में रखे विस्फोट जल गए। फैक्ट्री के जनरल मैनेजर का कहना है कि इस आग में केवल खराब रखा हुआ विस्फोट जला है, लेकिन फैक्ट्री में जिस तरह लगातार करीब 200 धमाके दो-दो सेकंड के अंतराल पर हुए हैं, उसे देखकर कोई भी आसानी से कह सकता है कि असलियत छुपाई जा रही है।
फिलहाल, फैक्ट्री के आसपास का क्षेत्र प्रतिबंधित कर दिया गया है और वहां किसी को भी प्रवेश की अनुमति नहीं है। असल में इस भीषण आगजनी में कितना नुकसान हुआ है, इसकी जानकारी प्रबंधन की चुप्पी टूटने के बाद ही चल पाएगी। फिलहाल अनुमान लगाया जा रहा है कि इसमें करोड़ों का गोला-बारूद जलकर खाक हुआ है।