SIT probe against teachers continues
देहरादून। अपर पुलिस महानिदेशक राम सिंह मीणा ने कहा कि फर्जी डिग्रीधारी शिक्षकों के खिलाफ एसआइटी जांच जारी ( SIT probe against teachers continues ) रहेगी। इसके लिए एसआइटी विज्ञापन जारी कर ऐसे शिक्षकों के बारे में आम लोगों से भी साक्ष्य जुटाएगी। अभी तक 21 शिक्षकों के खिलाफ मामले दर्ज किए जा चुके हैं।
उन्होंने सीआइडी की 42 लंबित विवेचना और चार जांचों में भी तेजी लाने के निर्देश दिए। पुलिस मुख्यालय में सीआइडी के कार्यो की समीक्षा करते हुए अपर पुलिस महानिदेशक प्रशासन राम सिंह मीणा ने कहा कि शिक्षकों की जांच को गठित एसआइटी ने सराहनीय कार्य किया है।
अब तक फर्जीवाड़े में 55 शिक्षकों के खिलाफ मुकदमे की संस्तुति दी जा चुकी है। तीन शिक्षकों के खिलाफ जरूरी सबूत जुटाए जा रहे हैं, जबकि दो हजार से ज्यादा प्रमाण पत्रों का सत्यापन जारी है। इस दौरान उन्होंने सीआइडी की देहरादून और हल्द्वानी शाखा में लंबित चल रही 42 विवेचनाओं में तेजी लाने के निर्देश दिए।
विवेचकों को कार्यप्रणाली में बदलाव लाने को भी कहा
इसके अलावा विवेचना के दौरान वैज्ञानिक विधि से साक्ष्य संकलन पर भी जोर दिया गया। उन्होंने विवेचनाओं को बिना वजह लंबित रखने वाले विवेचकों को कार्यप्रणाली में बदलाव लाने को भी कहा। इस मौके पर शिक्षकों की फर्जी डिग्री की जांच कर रही एसआइटी प्रभारी एएसपी श्वेता चौबे ने अब तक हुई कार्रवाई की जानकारी दी।
उन्होंने जांच में आने वाली परेशानी और संसाधनों के बारे में भी अवगत कराया। इस मौके पर प्रमाण पत्रों की जाच में विद्यालयों से संपर्क स्थापित करने के निर्देश दिए गए। कहा कि इसके लिए विज्ञापन प्रकाशित कर लोगों से अपील करें कि यदि किसी शिक्षक की ओर से फर्जी प्रमाण पत्रों के आधार पर नियुक्ति प्राप्त की गई हो तो ऐसे शिक्षकों की जानकारी एसआइटी को दें।
इस मौके पर डीआइजी सीआइडी पुष्पक ज्योति समेत अन्य मौजूद रहे। बजट और स्टाफ मांगा एसआइटी ने जांच में वाहन किराये से लेकर अन्य दूसरे खर्चो का हवाला दिया। ऐसे में एसआइटी ने इस मद में बजट आवंटित किए जाने की मांग की। इसके अलावा विवेचना के लिए विशेष श्रेणी के दारोगा या फिर सिपाही की भी मांग की गई।